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भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष श्री आदेश गुप्ता ने कहा कि केजरीवाल की कथनी और करनी में अंतर है और आज उसका प्रमाण तिलक विहार में हुए पोल खोल अभियान के दौरान मिल गया। पोल खोल अभियान एक तरह से लोगों को अपनी समस्या और केजरीवाल के प्रति गुस्से को उजागर करने का महत्वपूर्ण मंच बन गया है। केजरीवाल ने तिलक विहार में रह रहे 925 से अधिक 84 दंगों के पीड़ित सिख परिवारों से गुरुद्वारें में हुजूर साहिब के सामने 400 यूनिट बिजली मुफ्त देने की कसम खाई थी, लेकिन आज उन परिवारों के बिजली बिल लाखों रुपये में आ रहे हैं। जिसकी शिकायत आज पोल खोल अभियान के दौरान खुद तिलक विहार के लोगों ने श्री आदेश गुप्ता को अपना बिल दिखाते हुए किया।
श्री आदेश गुप्ता ने आज हुए प्रेसवार्ता में लोगों द्वारा इसकी शिकायत किए जाने की वीडियो दिखाया। इसके बाद कुछ सिख परिवारों के पास आए हुए बिजली बिल के पेपरों को दिखाते हुए श्री गुप्ता ने कहा कि फूल सिंह के पास 2,22,670 रुपये का बिल आया है। इंदिरा कौर नाम की महिला के पास 144530 रुपये का बिजली बिल आया है। गुरदीप सिंह 132170 रुपये का बिल आया है। इन सब के घर 20 गज के हैं जिसमें सिर्फ एक पंखा, एक कूलर और एक ट्यूब लाइट का प्रयोग होता है। ऐसे सैकड़ों घरों में लाखों रुपये के बिल भेजे गए हैं और इतना ही नहीं उनका कनेक्शन भी काट दिया गया है। ये वही लोग हैं जिन्होंने 84 के दंगों में अपनों को खोया था।
श्री आदेश गुप्ता ने कहा कि इस चिलचिलाती गर्मी में घर के बिजली कनेक्शन काटना मानवीयता को शर्मसार करने वाला है। केजरीवाल ने वायदा किया था कि 84 के दंगों में अपनों को खोने वाले सिख परिवारों में एक सदस्य को नौकरी देने की भी बात कही थी, लेकिन आज तक उसे पूरा नहीं किया। दूसरे राज्यों में जाकर झूठी बातें करने वाले केजरीवाल की हकीकत यह है कि उनके अंदर आज इंसानीयत तक खत्म हो गई है। जब भी चुनाव आता है तो उनके विधायकों को सभी वायदें याद आते हैं, लेकिन चुनाव खत्म होते ही फिर वहीं पुरानी कहानी दोहराई जाती है।
श्री आदेश गुप्ता ने केजरीवाल से सवाल करते हुए कहा कि उनकी बिजली कंपनियों से इतनी सांठगांठ हो चुकी है कि आज वह गरीब और मजबूर दिल्लीवासियों के हित देखने की जगह बिजली कंपनियों के फायदें का काम कर रहे हैं। ओखला, मदनपुर खादर और बदरपुर सहित कई जगहों पर रोहिंग्या-बांग्लादेशियों को बसाकर उन्हें बिजली मुफ्त दे रहे हैं, लेकिन दिल्लीवासियों के साथ इतनी नइंसाफी जाजती क्यों हो रही है। उन्होंने कहा कि केजरीवाल सरकार पहले 400 यूनिट बिजली मुफ्त देने का वायदा किया था लेकिन बेशर्मी से बिजली बिल भेजे जाते रहे। फिर जब पंजाब चुनाव आया तो केजरीवाल की एक टीम तिलक विहार वासियों के पास आई और उन्हें दिलासा दी कि उनका सारा बिजली का बिल कैंप लगाकर माफ कर दिया जाएगा। लेकिन जैसे ही पंजाब चुनाव खत्म हुआ सभी वायदें काफूर हो गए।
प्रदेश उपाध्यक्ष श्री राजीव बब्बर ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी सरकार ने अक्टूबर 2014 में 84 के दंगों में पीड़ित 3300 परिवारों को 127 करोड़ रुपये की सहातया की। इनमें से प्रत्येक परिवार को पांच-पांच लाख रुपये दिया जाना था। सभी राज्यों ने इसे तुरंत दे दिया, लेकिन दिल्ली में रह रहे 2700 परिवारों को दिए जाने वाली राशि को केजरीवाल सरकार ने 15 महीनों तक रोककर रखा ताकि लोग केंद्र सरकार द्वारा दिए गए पैसे को भूल जाए। छह एकड़ जमीन पर स्टेडियम बनाकर सिख परिवारों को देने का वायदा किया गया, लेकिन आज वहां कूड़ा फेंका जा रहा है। आज प्रेस वार्ता में प्रदेश रिलेशन विभाग का प्रभारी श्री हरीश खुराना और प्रदेश मंत्री श्री इम्प्रीत सिंह बख्शी उपस्थित थे।
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